tag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post7657906349261368822..comments2023-04-26T08:16:39.306-07:00Comments on आज़ाद लब azad lub: तुझे सोमरस कहूं या शराब? (भाग-१)विजयशंकर चतुर्वेदीhttp://www.blogger.com/profile/12281664813118337201noreply@blogger.comBlogger14125tag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-78928671714535044192013-02-11T08:06:23.897-08:002013-02-11T08:06:23.897-08:00भाईयो , मुझे भी बता दो सोमरस कैसे बनता है॥भाईयो , मुझे भी बता दो सोमरस कैसे बनता है॥rameshbhakherhttps://www.blogger.com/profile/15094926380870921839noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-91303996486418702922013-02-11T08:03:09.818-08:002013-02-11T08:03:09.818-08:00भाईयो,मुझे भी बता दो कैसै बनता है सोमरसभाईयो,मुझे भी बता दो कैसै बनता है सोमरसrameshbhakherhttps://www.blogger.com/profile/15094926380870921839noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-86853839709565660722011-11-18T06:27:42.927-08:002011-11-18T06:27:42.927-08:00सोमलता एक एसी औषधी है जिससे मृत्यु पर विजय की जा स...सोमलता एक एसी औषधी है जिससे मृत्यु पर विजय की जा सकती है |Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-78318018812117883282008-05-31T12:23:00.000-07:002008-05-31T12:23:00.000-07:00jisako jis cheej men interest hai vah research kar...jisako jis cheej men interest hai vah research karega hi!Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-8243669285394866112008-05-31T12:22:00.000-07:002008-05-31T12:22:00.000-07:00ये ताड़ी-माड़ी सेंटर में मिलेंगा क्या? अपुन को बी पी...ये ताड़ी-माड़ी सेंटर में मिलेंगा क्या? अपुन को बी पीने का हैं.Unknownhttps://www.blogger.com/profile/11044902434325164098noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-34733674205545401702008-05-31T07:08:00.000-07:002008-05-31T07:08:00.000-07:00...और कुमार आलोक जी को सनके दिक् मुनि ने एक सलाह भ......और कुमार आलोक जी को सनके दिक् मुनि ने एक सलाह भिजवाई है- ' तरल-गरल पान करते रहें जैसा कि सेक्सपियर ने लेख में सबसे पहले कह दिया है. लेकिन गलती से भी इसका ड़ोज न बढायें!विजयशंकर चतुर्वेदीhttps://www.blogger.com/profile/12281664813118337201noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-92087431531068513812008-05-31T07:04:00.000-07:002008-05-31T07:04:00.000-07:00निर्मल स्वामी अभयानन्द जी, श्री महेन्द्रानन्द डबल ...निर्मल स्वामी अभयानन्द जी, श्री महेन्द्रानन्द डबल सरस्वती, चरम तपस्वी दिनेशराय जी, श्रीयुत दण्डी अशोकाचार्य जी, मुमुक्षु कुमार आलोक जी और महामंडलेश्वर समीराधिराज जी को साधु-संतवाद!<BR/><BR/>ऋषिवर जागृत हो गए हैं लेकिन क्षुब्ध हैं कि रिस्पोंस कम है. टिप्पणियों की प्रतीक्षा में खाट से उतर नहीं रहे हैं. उनका कहना है कि 'उई उई उई' शीर्षक पोस्ट पर अब तक १७१ टिप्पणियाँ आ चुकी हैं और ३३ पसंद प्राप्त हो चुकी हैं. और वह जो नियोलिथिक युग से लेकर आधुनिक प्रेस क्लबों के दारू कल्चर तक सोमरस के रैकेट का भंडाफोड़ कर रहे हैं उसे कोई भाव नहीं दे रहा है! <BR/>खैर मैं उनकी प्रकृति जानता हूँ. अभी झटके से उठेंगे और बिना दंतौन-मुखारी किए भोजपत्र और कलम पकड़ लेंगे. मैं अगली हंडिया चढ़ाने की तैयारी में जुट गया हूँ. पत्नी ने गोवंश से प्राप्त उपले जुटा दिए हैं (भैंसवंश से प्राप्त उपलों का प्रयोग ऋषि ने सख्त वर्जित कर रखा है). अब जाता हूँ; सरिता में मज्जन करके जंगल से कुछ जलावन समेट लाऊँ. तब तक पत्नी फर्जी आईडी से टिप्पणियाँ करके ऋषिवर का कोटा पूरा कर ही लेगी.विजयशंकर चतुर्वेदीhttps://www.blogger.com/profile/12281664813118337201noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-46551236873887079982008-05-31T04:12:00.000-07:002008-05-31T04:12:00.000-07:00अगली कड़ी का इन्तज़ार है.अगली कड़ी का इन्तज़ार है.Udan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-85499885632035657722008-05-31T03:14:00.000-07:002008-05-31T03:14:00.000-07:00वाह हजूर मजा आ गया ...मैं पिछले १५ सालों से लगातार...वाह हजूर मजा आ गया ...मैं पिछले १५ सालों से लगातार पी रहा हूँ ..और कैसे इतना स्वस्थ हूं मुझे आज इसका अहसास हुआ..गालिब ,,जाहिद , मोमिन और मीर तकी मीर को अपना अराध्य मानकर पैमाने को अपने गले से लगाया रहा ..दुनिया वालों ने मुझे क्या क्या नही कहा ...लेकिन भला ये शराब का ही कतरा था जो मेरी रगों में लहू बनकर दुनियावालों से लडते रहने का जज्बा पैदा किया ...भाषा मेरी गडबड हो सकती है ..वतॆनी भी गलत हो सकती है लेकिन मुझको यारों माफ करना मैं नशे में हूँ....कुमार आलोकhttps://www.blogger.com/profile/05450754013929589504noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-19441005472687824202008-05-31T00:54:00.000-07:002008-05-31T00:54:00.000-07:00'तुझे सूरज कहूं या चन्दा' की तर्ज़ पर आपकी पोस्ट का...'तुझे सूरज कहूं या चन्दा' की तर्ज़ पर आपकी पोस्ट का शीर्षक ही मन को प्रसन्न करने को काफ़ी था. बाक़ी सनके दिक मुनिवर द्वारा जुटाई जानकारियों से ज्ञानवर्धन हुआ सो अलग. <BR/><BR/>अगली कड़ी की प्रतीक्षा में एक श्रवण.Ashok Pandehttps://www.blogger.com/profile/03581812032169531479noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-62365972325268206122008-05-30T20:36:00.000-07:002008-05-30T20:36:00.000-07:00आप ने शोध अच्छा किया। पर पहली कड़ी समाप्त होते ही ...आप ने शोध अच्छा किया। पर पहली कड़ी समाप्त होते ही असर दिखाने लगी शोधक पर ही।दिनेशराय द्विवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00350808140545937113noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-70235141659095206912008-05-30T20:15:00.001-07:002008-05-30T20:15:00.001-07:00पंडितो को सोमरस और अन्यों को दारू वाइन कहना चाहिए ...पंडितो को सोमरस और अन्यों को दारू वाइन कहना चाहिए . जानकारी अच्छी लगी . धन्यवाद अगली कड़ी की प्रतीक्षा मे.समयचक्रhttps://www.blogger.com/profile/05186719974225650425noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-55523465892518987172008-05-30T20:15:00.000-07:002008-05-30T20:15:00.000-07:00पंडितो को सोमरस और अन्यों को दारू वाइन कहना चाहिए ...पंडितो को सोमरस और अन्यों को दारू वाइन कहना चाहिए . जानकारी अच्छी लगी . धन्यवाद अगली कड़ी की प्रतीक्षा मे.समयचक्रhttps://www.blogger.com/profile/05186719974225650425noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4194829957225159901.post-4054137129486980332008-05-30T20:05:00.000-07:002008-05-30T20:05:00.000-07:00बढ़िया है.. अगली कड़ी का इन्तज़ार है!बढ़िया है.. अगली कड़ी का इन्तज़ार है!अभय तिवारीhttps://www.blogger.com/profile/05954884020242766837noreply@blogger.com